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चीन ने किया ‘लॉन्ग मार्च 5 बी’ (Long March 5B) का सफलता पूर्वक परीक्षण

China Launched Long March 5b next generation capsule successfully चीन ने एक स्थायी अंतरिक्ष स्टेशन संचालित करने और अंतरिक्ष यात्रियों को चाँद पर भेजने के उद्देश्य से एक नया रॉकेट और एक डीप-स्पेस स्पेसक्राफ्ट लॉन्च किया है। चीन ने अपने प्रथम प्रयास में ही यह सफलता हासिल की।

 

चीन ने लॉन्ग मार्च 5 बी (Long March 5B) रॉकेट का परीक्षण वेनचांग नामक प्रक्षेपण स्थल से किया, जो हैनान द्वीप पर स्थित है।

 

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इस सन्दर्भ में चीन की अंतरिक्ष एजेंसी (सीएमएसए) ने 8 मई, 2020 को जरी एक बयान में कहा कि चीन की प्रायोगिक नई पीढ़ी का अंतरिक्ष यान इनर मंगोलिया ऑटोनॉमस क्षेत्र में निर्धारित जगह पर सफलतापूर्वक उतरा है।

 

दरअसल, चीन ने 5 मई को दक्षिणी चीन के दक्षिणी प्रांत हैनान के वेनचांग स्पेस लॉन्च सेंटर से देश के सबसे शक्तिशाली रॉकेट लॉन्ग मार्च -5 बी को चालक दल के बिना नए अंतरिक्ष यान का परीक्षण संस्करण लॉन्च किया था।

 

एजेंसी के मुताबिक, बिना क्रू वाला यह प्रायोगिक मानवयुक्त अंतरिक्ष यान, लगभग 488 सेकंड बाद, कार्गो रिटर्न कैप्सूल के परीक्षण संस्करण के साथ, रॉकेट के साथ अलग हो गया और योजनाबद्ध तरीके से कक्षा में प्रवेश कर गया।

 

सीएमएसए के अनुसार, इस प्रायोगिक अंतरिक्ष यान ने अंतरिक्ष की कक्षा में 2 दिन और 19 घंटे उड़ान भरी।


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लॉन्ग मार्च- 5बी (Long March 5B) से संबंधित मुख्य बिंदु

  • यह रॉकेट एक विशाल वाहन है और इसकी तुलना नासा के डीप स्पेस ओरियन कैप्सूल से की जा रही है।
  • चाइना एकेडमी ऑफ स्पेस टेक्नोलॉजी द्वारा विकसित यह रॉकेट लगभग 9 मीटर लंबा और लगभग 4.5 मीटर चौड़ा है।
  • लॉन्ग मार्च- 5बी का वज़न 20 टन से अधिक है।  
  • लॉन्ग मार्च- 5बी विशेष रूप से चीन के मानवयुक्त अंतरिक्ष कार्यक्रम के लिए बनाया गया है, और इसका इस्तेमाल मुख्य रूप से अंतरिक्ष स्टेशन के मॉड्यूल को लॉन्च करने के लिए किया जाएगा।
  • लॉन्ग मार्च 5 बी पृथ्वी की कक्षा में 25 टन पेलोड उठाने में सक्षम है, जोकि चीन के नए अंतरिक्ष स्टेशन के निर्माण के लिये एक महत्तवपूर्ण आवश्यकता है।
  • लॉन्ग मार्च -5 बी के लॉन्च के बाद, चीन अब इस रॉकेट की एक श्रृंखला लॉन्च करेगा, जिसमें लॉन्ग मार्च-5, 6 और 7 शामिल हैं।
  • यह रॉकेट 2022 तक अंतरिक्ष यात्रियों को अंतरिक्ष स्टेशन तक ले जाने में चीन की मदद करेगा।
  • लॉन्ग मार्च -5 बी रॉकेट चीन को ‘तियांगोंग’ नामक एक विशाल अंतरिक्ष स्टेशन के निर्माण की योजना में सहायता करेगा।
  • ग़ौरतलब है कि तियांगोंग चीन का एक अंतरिक्ष स्टेशन कार्यक्रम है, जो अन्य अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष गतिविधियों हेतु स्वतंत्र और असंबद्ध है।

 

विदित हो कि चीन ने वर्ष 2011 में अपनी पहली अंतरिक्ष प्रयोगशाला शुरू की थी जिसका नाम तियांगोंग-1 है। बाद में, 2016 में दूसरी अंतरिक्ष प्रयोगशाला को तियांगोंग -2 लांच किया गया।

 

चीन इससे पहले दो अंतरिक्ष प्रयोगशालाएं शुरू कर चुका है: तियांगोंग -1 (Tiangong-1), जिसे 2011 में लॉन्च किया गया था, और इसके बाद तियांगोंग -2 (Tiangong-2), जो 2016 में लॉन्च की गई थी। चीन ने पहली बार 2003 में अपने स्वयं के अंतरिक्ष यात्रियों, ताइकोनॉट्स (Taikonauts), को लॉन्च किया था। किन्तु वर्ष 2016 के बाद से इसने कोई भी क्रू मिशन शुरू नहीं किया।

 

ग़ौरतलब है कि अब तक अमेरिका एकमात्र ऐसा देश है जो मनुष्य को चाँद पर भेजने में सफल रहा है। दूसरी ओर चीन ने 2019 में चंद्रमा के सुदूर भाग में एक रोवर को सफलतापूर्वक उतारा था। चीन अब 2020 तक अपने रोवर को मंगल पर उतारने की योजना बना रहा है।

 

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